
हत्या
के
मामले
में
दोषियों
को
आजीवन
कैद
–
फोटो
:
ANI
विस्तार
मां-बेटी
की
गला
घोंटकर
हत्या
करने
और
गड्डा
खोदकर
उनकी
लाश
दफन
करने
वाले
चार
आरोपियों
को
अदालत
ने
दोषी
करार
दिया
है।
विशेष
न्यायाधीश
गिरीश
दीक्षित
की
अदालत
ने
दोहरे
हत्याकांड
के
आरोपी
जबलपुर
निवासी
संजू
उर्फ
संजय
श्रीपाल,
राजा
कोल,
देवा
उर्फ
दुर्गेश
ठाकुर
व
मालती
झारिया
को
आजीवन
कारावास
व
जुर्मान
से
दंडित
किया
है।
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अदालत
के
समक्ष
अभियोजन
की
ओर
से
विशेष
लोक
अभियोजक
नविता
पिल्लै
ने
पक्ष
रखा।
उन्होंने
दलील
दी
कि
30
सितंबर
2021
को
फरियादी
आशीष
झारिया
ने
उसकी
बहन
बबली
झारिया
एवं
उसकी
भांजी
निशा
झारिया
के
27
सिंतबर
से
गुमशुदा
हो
जाने
की
रिपोर्ट
दर्ज
कराई
थी।
30
सितंबर
के
बाद
भी
दो
अक्टूबर
तक
बहन
एवं
भांजी
के
न
मिलने
पर
पुन:
गुमशुदगी
की
रिपोर्ट
दर्ज
कराई
गई
थी।
पांच
अक्टूबर
तक
दोनों
का
पता
न
चलने
पर
पुलिस
द्वारा
फरियादी
से
अतिरिक्त
पूछताछ
की
गई।
बहन
बबली
की
जेठानी
मालती
झारिया
एवं
उसके
प्रेमी
संजू
श्रीपाल
पर
शंका
जताई
गई
कि
संजू
श्रीपाल
मालती
के
घर
अक्सर
आता
जाता
था।
उसकी
बहन
और
भांजी
आपत्ति
करते
थे।
इस
बात
पर
दोनों
उसकी
बहन
एवं
भांजी
से
विवाद
करते
थे।
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आशीष
झारिया
द्वारा
दी
गई
उक्त
जानकारी
के
आधार
पर
संजू
श्रीपाल
से
पूछताछ
की
गई।
इस
पर
पता
चला
कि
उसने
मालती
झारिया,
अपने
मित्र
राजा
कोल
एवं
दुर्गेश
ठाकुर,
जिन्हें
पैसो
की
आवश्यकता
थी,
के
साथ
मिलकर
दोनो
मां-बेटी
का
एक
के
बाद
एक
रस्सी
से
गला
घोंट
दिया
और दोनों
के
शव
काशी
महंगवा
कैनाल
बरेला
के
किनारे
गड्ढा
खोदकर
दबा
दिए
हैं।
पुलिस
ने
दोनों
के
शव
बरामद
करते
हुए
हत्या
कर
प्रकरण
दर्ज
कर
अदालत
के
समक्ष
चालान
पेश
किया।
सुनवाई
दौरान
पेश
किए
गए
गवाह
व
साक्ष्यों
के
मद्देनजर
अदालत
ने
चारों
आरोपियों
को
उक्त
सजा
सुनाई।