Indore News: छोटे भाई के दस्तावेज से पाई नौकरी, मौत के बाद खुला राज, अब पुलिस जांच शुरू

Indore News: छोटे भाई के दस्तावेज से पाई नौकरी, मौत के बाद खुला राज, अब पुलिस जांच शुरू
Indore News: छोटे भाई के दस्तावेज से पाई नौकरी, मौत के बाद खुला राज, अब पुलिस जांच शुरू

कैलाश
जीवित
है,
लेकिन
उनके
नाम
का
मृत्युु
प्रमाण
पत्र
बन
गया।


फोटो
:
अमर
उजाला

विस्तार

इंदौर
में
एक
चौथी
पास
पुलिसकर्मी
हीरालाल
जाटव
ने
अपने
भाई
कैलाश
जाटव
के
दस्तावेजों
से
पुलिस
विभाग
में
नौकरी
हासिल
की।
सालों
तक
हीरालाल
नौकरी
करता
रहा,
लेकिन
छोटे
भाई
को
यह
हीरालाल
की
मौत
के
बाद
पता
चला,
जब
उसके
बच्चों
ने
मृत्य
सर्टिफिकेट
कैलाश
के
नाम
पर
बनवा
लिया।
इसकी
शिकायत
कैलाश
ने
पुलिस
कमिश्नर
को
की
है।
उन्होंने
क्राइम
ब्रांच
को
इसकी
जांच
सौंपी
है।
बेटे
मृत्यु
सर्टिफिकेट
के
जरिए
अनुकंपा
नियुक्ती
पाना
चाहते
थे।

धार
क्षेत्र
के
डही
में
दोनो
भाई
रहते
थे।
दोनो
की
उम्र
में
दस
साल
का
अंतर
है,
जबकि
दोनो
एक
जैसे
दिखते
है।
इसका
फायदा
बड़े
भाई
हीरालाल
ने
उठाया।
कैलाश
पढ़ने
में
होशियार
था।
उसने
12
वीं
कक्षा
पास
कर
प्रथम
वर्ष
तक
पढ़ाई
की।

फिर
रोजगार
की
तलाश
में
इंदौर
आ गया।
उनसे
सारे
दस्तावेज
ढही
में
रखे
थे।
68
वर्षीय
बड़े
भाई
हीरालाल
ने
चौथी
कक्षा
तक
पढ़ाई
की।
उसने
अपने
भाई
के
दस्तावेज
लगाकर
पुलिस
विभाग
मेें
नौकरी
हासिल
कर
ली।
इंदौर
में
उसकी
पोस्टिंग
रेडियो
विभाग
में
हुई
थी।
प्रमोशन
के
बाद
वह
प्रधान
आरक्षक
बन
गया
था।


भाई
ने
फोटों
में
अपना
नाम
देखा

हीरालाल
की
गिरने
से
मृत्यु
हो
गई
थी।
उसकी
उम्र
58
साल
थी,
लेकिन
छोटे
भाई
के
दस्तावेज
के
कारण
अभी
तक
नौकरी
कर
रहा
था।
छोटे
भाई
कैलाश
ने
तेरहवीं
में
रखी
तस्वीर
में
खुद
का
नाम
देखा,
जबकि
फोटो
हीरालाल
की
थी।
कैलाश
को
पता
चला
कि
मृत्य
प्रमाण
पत्र
भी
उसके
नाम
का
है।
हीरालाल
के
बेटे
अनुकंपा
नियुक्ति
पाने
के
लिए
कैलाश
पर
चुप
रहने
का
दबाव
बना
रहे
थे,
लेकिन
उन्होंने
इस
फर्जीवाड़े
की
शिकायत
पुलिस
को
कर
दी।