
सरयू
की
लहरों
के
समानांतर
रामनगरी
में
आस्था
का
भी
उफान
तेज
है।
मंगलवार
को
भी
10
लाख
से
अधिक
श्रद्धालु
पहुंचे।
बुधवार
को
माघ
पूर्णिमा
का
स्नान
है।
इस
दौरान
अयोध्या
में
20
लाख
से
अधिक
श्रद्धालुओं
के
पहुंचने
की
संभावना
है।
भीड़
को
देखते
हुए
अयोध्या
में
स्कूल
भी
14
फरवरी
तक
के
लिए
बंद
कर
दिए
गए
हैं।
अयोध्या
धाम
में
बड़े
वाहनों
का
प्रवेश
प्रतिबंधित
है।
डायवर्जन
का
दायरा
पहले
की
तुलना
में
बढ़ा
दिया
गया
है।
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रामलला
का
दर्शन
करने
के
लिए
श्रद्धालुओं
का
पहुंचना
अनवरत
जारी
है।
स्थिति
यह
है
कि
विद्यालयों
को
बंद
करना
पड़ा
है
और
सभी
पहुंच
मार्गों
पर
वाहनों
का
तांता
लगा
हुआ
है।
अनुमान
है
कि
मंगलवार
को
लगभग
10
लाख
लोग
अयोध्या
धाम
में
हैं।
दर्शन
करके
जितने
श्रद्धालु
धाम
से
बाहर
जा
रहे
हैं,
उससे
अधिक
आने
वालों
की
कतार
में
हैं।
दर्शन
अवधि
बढ़ाने
के
बाद
भी
समय
कम
पड़
रहा
है।
पुलिस
और
प्रशासनिक
अधिकारी
व्यवस्था
बनाए
रखने
के
लिए
अनवरत
प्रयास
कर
रहे
हैं।
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जिला
प्रशासन
और
पुलिस
विभाग
ने
अंबेडकरगनर,
सुल्तानपुर,
बाराबंकी,
रायबरेली
व
अमेठी
जिले
के
बॉर्डर
पर
वाहनों
के
लिए
होल्डिंग
एरिया
बनाया
है।
इसके
बाद
भी
वाहनों
का
प्रेशर
हाईवे
पर
देखने
को
मिल
रहा
है।
लोग
पैदल
ही
अयोध्या
की
ओर
जा
रहे
हैं।
वहीं,
अयोध्या
शहर
में
टेढ़ी
बाजार
से
पहले
उदया
चौराहे
पर
ही
शहर
के
अंदर
पहुंच
रहे
चार
पहिया
वाहनों
को
पार्किंग
एरिया
में
खड़ा
कराया
जा
रहा
है।
वहां
से
पैदल
राम
जन्मभूमि
मंदिर
तक
भक्त
रास्ता
तय
कर
रहे
हैं।
आईजी
प्रवीण
कुमार
ने
कहा
कि
लगातार
भारी
संख्या
में
श्रद्धालु
अयोध्या
आ
रहे
हैं।
जिला
प्रशासन
के
लिए
सभी
को
दर्शन
मुहैया
करवाना
चुनाैती
है।
अयोध्या
की
अपनी
एक
क्षमता
है,
फिर
भी
सभी
को
दर्शन
करवाने
के
प्रयास
हो
रहे
हैं।
स्थानीय
लोगों
का
सहयोग
मिल
रहा
है।
न्यूनतम
असुविधा
हो
और
ज्यादा
से
ज्यादा
लोगों
को
दर्शन
हो,
इस
पर
ही
काम
किया
जा
रहा
है।
हाईवे
पर
जाम
की
स्थिति
नहीं
है।
कई
जगहों
पर
होल्डिंग
एरिया
बनाया
गया
है।