Gwalior News: ग्वालियर में कांग्रेस ने किया संविधान सत्याग्रह, 6 घंटे रखा उपवास, वोट बैंक को साधने की कोशिश


मध्य
प्रदेश
के
ग्वालियर-चंबल
में
एक
तरफ
जहां….
आपातकाल
की
50वीं
बरसी
को
भाजपा
संविधान
हत्या
दिवस
के
रूप
में
मनाया
है
तो
वहीं
कांग्रेस
ने
आंबेडकर
मूर्ति
विवाद
मामले
में….
सत्याग्रह
उपवास
रखा
है।
जिसमें
प्रदेश
कांग्रेस
के
नेताओं
के
साथ-साथ
बड़ी
संख्या
में
दलित
नेता
मौजूद
रहे।
जिन्होंने
बीजेपी
और
आरएसएस
को
जमकर
घेरा
है।
कांग्रेस
का
ये
सत्याग्रह
लगभग
6
घंटे
चला
है।
इस
दौरान
उन्होंने
खुलकर
बाबा
साहब
आंबेडकर
की
मूर्ति
लगाने
पर
जोर
दिया
है।

भले
ही
मध्यप्रदेश
में
विधानसभा
ओर
लोकसभा
में
काफी
वक्त
है,
लेकिन
चंबल
का
सियासी
परा…
फिलहाल
दलित
वोटर्स
की
तरफ
घूम
रहा
है।
बीते
चार
महीनों
से
हाईकोर्ट
की
ग्वालियर
बेंच
में
आंबेडकर
की
मूर्ति
लगाने
का
जो
विवाद
चला

रहा
है…
उसे
अब
कांग्रेस
ने
हवा
दे
दी
है।
वो
भीम
आर्मी,
दलित
संगठनों
के
बाद…
मूर्ति
को
किसी
भी
कीमत
पर
लगवाने
की
जिद्द
पर
अड़
गई
है।
आज
कांग्रेस
के
नेताओं
ने
उपवास
वाले
मंच
पर
जमकर
बीजेपी
ओर
आरएसएस
पर
हमला
किया
है।

कांग्रेस
उपवास
वाले
मंच
से
कांग्रेस
प्रदेश
अध्यक्ष
जीतू
पटवारी
ने
भाजपा
को
आड़े
हाथ
लिया।
उन्होंने
कहा
भारतीय
जनता
पार्टी
अपने
पापों
को
छुपाने
के
लिए
ये
सब
कर
रही
है।
उन्हें
काला
दिवस
इस
बात
का
मनाना
चाहिए।
क्योंकि
प्रदेश
में
सबसे
ज़्यादा
दलित
बहनें
ग़ायब
हुईं।
दलितों
पर
सबसे
ज्यादा
अत्याचार
की
राजधानी
मध्य
प्रदेश
बन
गया।
लंबी
फ़ेहरिस्त
है…..
बीजेपी
के
नेताओं
की
जो
आम
जनता
को
लगातार
यातनाएं
दे
रहे
हैं।
मोदी
ने
12-13
सरकारें
गिरा
दीं,
600
विधायकों
की
खरीद
फरोख्त
कर
500
से
ज़्यादा
सांसदों
की
मंडी
लगवा
दी,
यह
काला
दिवस
नहीं
तो
क्या
है?

ये
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पढ़ें- लोकतंत्र
के
काले
अध्याय
के
50
साल
पूरे,
21
महीने
देखी
शासन
की
क्रूरता,
इंदौर
में
तब
क्या
हुआ
था?

एक
तरफ
जहां….
कांग्रेस
आंबेडकर
जी
मूर्ति
लगाने
को
लेकर
मोर्चा
खोली
हुई
है,
तो
वहीं
दूसरी
ओर
बीजेपी
पूरे
देश
में
आपातकाल
को
काले
दिवस
के
रूप
में
मना
रही
है।
संगोष्ठियां
कर
रही
है।
इसी
कड़ी
में
आज
बीजेपी
की
राष्ट्रीय
उपाध्यक्ष
सरोज
पांडेय
भी
शामिल
हुई।
सरोज
पांडेय
कांग्रेस
के
संविधान
सत्याग्रह
को
झूठा
बताकर
इसे
काला
दिवस
बता
रही
है।
बीजेपी
का
आरोप
है
कि
कांग्रेस
ने
सन
1975
में
आपातकाल
लगाकर
संविधान
की
हत्या
की
थी।

कांग्रेस
का
संविधान
सत्याग्रह
और
उपवास
भीमराव
अंबेडकर
की
मूर्ति
के
इर्द-गिर्द
घूमता
रहा।
इस
दौरान
कांग्रेस
के
वरिष्ठ
नेतृत्व
ने
रुख
साफ
है,
पार्टी
ना
जातिवाद
के
साथ
है
और
ना
ही
किसी
जाति
विशेष
के
खिलाफ।
कांग्रेस
संविधान,
संविधान
निर्माता
और
सामाजिक
न्याय
के
पक्ष
में
खड़ी
है।
उन्होंने
कहां
कोई
भी
ऐसा
विचार
जो
सर्वकालिक
और
सर्वव्यापी

हो,
वह
इस
देश
में
टिक
नहीं
सकता।
बहरहाल
मूर्ति
का
मुद्दा
तो
हाई
कोर्ट
में
विचाराधीन
है,
लेकिन
बीजेपी
और
कांग्रेस
की
सियासत
मध्य
प्रदेश
में
संविधान
और
दलित
वोट
बैंक
के
इर्द के घूम रही है।