LS Election: भाजपा-कांग्रेस प्रत्याशियों के खर्च के 25% भी नहीं पहुंचे बाकी उम्मीदवार, एक ने बिना खर्च ही लड़ा

LS Election: The remaining candidates did not reach even 25% of the expenditure of BJP-Congress candidates

मप्र
लोकसभा
चुनाव।


फोटो
:
अमर
उजाला

विस्तार

लोकसभा
चुनाव
के
चार
चरण
पूरे
होने
के
साथ
प्रदेश
की
चुनाव
पुराण
पूरी
हो
चुकी
है।
अब
इस
चुनाव
में
हुए
खर्चों
का
ब्यौरा
जुटाया
जा
रहा
है।
हालांकि
राजधानी
भोपाल
में
कोई
भी
प्रत्याशी
निर्वाचन
आयोग
की
खर्च
सीमा
तक
नहीं
पहुंच
पाया।
मितव्यता
की
मिसाल
पेश
करते
हुए
एक
प्रत्याशी
ने
बिना
खर्च
के
ही
पूरा
चुनाव
लड़
लिया
है।
भाजपा
और
कांग्रेस
के
उम्मीदवारों
का
जितना
चुनाव
खर्च
हुआ
है,
बाकी
के
सभी
निर्दलीय
प्रत्याशी
मिलकर
इस
खर्च
की
चौथाई
तक
भी
नहीं
पहुंच
पाए
हैं।

भोपाल
में
लोकसभा
चुनाव
के
दौरान
प्रत्याशियों
द्वारा
किए
खर्च
के
आंकड़े
सामने
आने
लगे
हैं।
इसमें
जहां
भाजपा
और
कांग्रेस
प्रत्याशियों
ने
दिल
खोलकर
खर्च
किया
है,
वहीं
निर्दलीय
उम्मीदवारों
ने
अपने
सामर्थ्य
के
मुताबिक
जेब
खाली
की
है।
प्रयाशियों
द्वारा
कलेक्टर
को
प्रस्तुत
किए
गए
हिसाब
के
मुताबिक
भाजपा
प्रत्याशी
आलोक
शर्मा
ने
चुनाव
में
सबसे
ज्यादा
53
लाख
रुपये
खर्च
किए।
इसमें
पीएम
नरेंद्र
मोदी
के
रोड
शो
का
खर्च
भी
शामिल
है।
दूसरे
नंबर
पर
कांग्रेस
के
अरुण
श्रीवास्तव
हैं।
उन्होंने
कुल
22.73
लाख
रुपये
खर्च
किए
हैं।
हालांकि
13
कैंडिडेट्स
ऐसे
भी
रहे,
जिनका
कुल
चुनावी
खर्च
एक
लाख
रुपये
भी
नहीं
है।
वे
पूरे
चुनाव
95
लाख
रुपये
तक
खर्च
कर
सकते
थे।
एक
निर्दलीय
कैंडिडेट
राजेश
कीर
ने
एक
रुपया
भी
नहीं
खर्च
किया
है।


निर्दलीयों
में
गुप्त
सबसे
आगे

खर्च
के
मामले
में
पूर्व
स्पेशल
डीजी
मैथिलीशरण
गुप्त
तीसरे
नंबर
पर
रहे।
इस
चुनाव
में
वे
निर्दलीय
उम्मीदवार
थे।
उन्होंने
3
लाख
6
हजार
रुपये
से
ज्यादा
खर्च
किया
है।
एक
अन्य
निर्दलीय
अंकित
राय
ने
2.24
लाख
रुपये
खर्च
किए
हैं।
छत्रपति
शिवाजी
भारतीय
गरीब
पार्टी
से
कैंडिडेट
अजय
पाठक
ने
1.32
लाख
रुपये,
निर्दलीय
भारती
यादव
ने
1.28
लाख
रुपये,
बसपा
के
भानुप्रताप
सिंह
ने
1.24
लाख
रुपये
और
सोशलिस्ट
यूनिटी
सेंटर
ऑफ
इंडिया
(कम्युनिस्ट)
के
मुदित
चौरसिया
ने
1.07
लाख
रुपये
पूरे
चुनाव
में
खर्च
किए।


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सोशल
मीडिया
पर
बड़ा
खर्च

वोटिंग
से
पहले
उम्मीदवार
सोशल
मीडिया
प्लेटफार्म
जैसे-
इंस्टाग्राम
और
फेसबुक
पर
खूब
एक्टिव
रहे।
वहीं,
एसएमएस,
ऑडियो
और
वीडियो
को
भी
उन्होंने
प्रचार
का
जरिया
बनाया।
भाजपा
के
आलोक
शर्मा
और
कांग्रेस
के
अरुण
श्रीवास्तव
ने
तो
इसके
लिए
कुल
8.38
लाख
रुपये
खर्च
कर
दिए।
हालांकि,
खर्चे
में
नंबर-1
पर
अरुण
रहे,
जिन्होंने
आलोक
के
मुकाबले
10
गुना
ज्यादा
खर्च
कर
दिया।
फेसबुक
और
इंस्टाग्राम
पर
कांग्रेस
के
अरुण
श्रीवास्तव
ने
सबसे
ज्यादा
3.38
लाख
रुपये
खर्च
किए।
दोनों
ही
सोशल
मीडिया
साइट्स
पर
डेढ़
सौ
से
ज्यादा
वीडियो
बूस्ट
कराने
के
बदले
यह
राशि
चुकाई
गई।
वहीं,
मोबाइल
पर
ऑडियो-वीडियो
से
संदेश
भेजने
और
एसएमएस
के
जरिए
भी
वोट
मांगे
गए।
इसमें
साढ़े
8
हजार
रुपये
का
खर्च
किया।
अन्य
एड
के
जरिए
अरुण
ने
कुल
7.45
लाख
रुपये
खर्च
किए।
बीजेपी
के
आलोक
शर्मा
दूसरे
नंबर
पर
रहे।
जिनका
खर्च
83
हजार
रुपये
आया,
जो
अरुण
श्रीवास्तव
के
खर्च
के
मुकाबले
10
प्रतिशत
ही
है।


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यह
खर्च
जुड़ते
हैं
चुनाव
खर्च
में

इस
बार
लोकसभा
चुनाव
में
एक
उम्मीदवार
कुल
95
लाख
रुपये
खर्च
कर
सकता
था।
प्रत्याशियों
के
चुनाव
खर्चों
में
प्रचार
और
उससे
जुड़े
सभी
तरह
के
व्यय
शामिल
रहते
हैं।
इसमें
उनके
द्वारा
और
उनके
समर्थकों
द्वारा
प्रचार
के
लिए
गाड़ियों
से
लेकर
टेंट,
खाना-पीना,
नाश्ता,
पंखे,
फूल,
गुलदस्ते
समेत
सभी
तरह
के
सामान
और
प्रचार
के
माध्यम
खर्च
में
जोड़े
जाते
हैं।
यहां
तक
कि
किसी
प्रायोजित
कार्यक्रम
में
शामिल
होने
से
उसका
खर्च
उनके
खाते
में
जुड़
जाता
है। 


(भोपाल
से
खान
आशु
की
रिपोर्ट)