UP: लोहिया की धरती पर सपा का सूखा… लड़ाई करीब, लेकिन जीत से रहे दूर; 1996 से आम चुनावों में नहीं मिली सफलता

UP:                                    लोहिया की धरती पर सपा का सूखा… लड़ाई करीब, लेकिन जीत से रहे दूर; 1996 से आम चुनावों में नहीं मिली सफलता
UP:                                    लोहिया की धरती पर सपा का सूखा… लड़ाई करीब, लेकिन जीत से रहे दूर; 1996 से आम चुनावों में नहीं मिली सफलता

मुलायम
सिंह
यादव
और
अखिलेश
यादव
(फाइल
फोटो)


फोटो
:
अमर
उजाला

विस्तार

जिन
प्रख्यात
समाजवादी
डॉ.
राम
मनोहर
लोहिया
के
सिद्धांतों
से
प्रेरित
होकर
समाजवादी
पर्टी
का
गठन
हुआ
उन्हीं
की
जन्मभूमि
पर
सपा
को
लोकसभा
चुनाव
में
जीत
का
इंतजार
है।
पार्टी
गठन
के
बाद
हुए
सात
आम
चुनावों
में
सपा
चार
बार
दूसरे
स्थान
तक
आई,
लेकिन
जीत
नसीब
नहीं
हुई। 

2004
के
उपचुनाव
में
जरूर
सपा
को
विजय
मिली,
लेकिन
इसे
बसपा
प्रमुख
द्वारा
बार-बार
जीत
के
बाद
भी
सीट
छोड़ने
की
प्रतिक्रिया
के
तौर
पर
देखा
गया।
समाजवादी
चिंतक
डॉ.
राम
मनोहर
लोहिया
की
जन्मस्थली
अकबरपुर
है।
यहीं
से
लोहिया
के
सिद्धांतों
ने
वैचारिक
क्रांति
की
अलख
जगाई। 

पूरी
दुनिया
में
उनके
समाजवादी
आदर्श
की
गूंज
हुई,
लेकिन
इन
सबके
बीच
डॉ.
लोहिया
का
नाम
लेकर
आगे
बढ़ी
समाजवादी
पार्टी
को
अकबरपुर
में
ही
आम
चुनाव
के
सफर
में
एक
भी
जीत
मयस्सर
नहीं
हो
सकी।

वर्ष
1992
में
गठन
के
बाद
सपा
ने
पहला
आम
चुनाव
वर्ष
1996
में
लड़ा।
तब
अकबरपुर
सुरक्षित
संसदीय
सीट
पर
पार्टी
ने
अयोध्या
(तत्कालीन
फैजाबाद)
जनपद
के
कद्दावर
दलित
नेता
अवधेश
प्रसाद
को
टिकट
दिया।
डॉ.
लोहिया
की
धरती
पर
सपा
ने
बड़े
चेहरे
को
उतार
कर
मजबूत
संदेश
देने
की
कोशिश
की। 


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