इनकम टैक्स: मेहनत आपकी, पैसा आपने कमाया.. तो सरकार को क्यों देना पड़ता है हिस्सा? बदले में क्या मिलता है?

इनकम टैक्स: मेहनत आपकी, पैसा आपने कमाया.. तो सरकार को क्यों देना पड़ता है हिस्सा? बदले में क्या मिलता है?


इनकम
टैक्स
:

इन
दिनों
इनकम
टैक्स
रिटर्न
(ITR)
भरने
का
दौर
चल
रहा
है.
31
जुलाई
आईटीआर
भरने
की
अंतिम
तिथि
है.
इसके
बाद
टैक्स
फाइल
करने
पर
पेनल्टी
लगेगी.
भारत
समेत
दुनियाभर
के
सभी
बड़े
देशों
में
लोगों
की
कमाई
पर
टैक्स
लगाया
जाता
है.
परंतु
कुछ
लोगों
का
यह
सवाल
हो
सकता
है
कि
वे
कड़ी
मेहनत
करके
पैसा
कमाते
हैं
तो
सरकार
उनकी
कमाई
में
से
हिस्सा
क्यों
ले
जाती
है.
आज
आपके
इस
सवाल
का
जवाब
मिल
जाएगा.

वित्तीय
वर्ष
2022-23
के
अनुसार,
भारत
सरकार
ने
लगभग
14
लाख
करोड़
रुपये
की
आय
प्राप्त
की
है,
जिसमें
से
एक
बड़ा
हिस्सा
इनकम
टैक्स
से
आया
है.
हालांकि
यह
आंकड़ा
साल
दर
साल
बदलता
रहता
है,
लेकिन
पिछले
कुछ
वर्षों
से
ये
नंबर
बढ़ा
ही
है.
2022-23
के
अनुसार,
लगभग
6
करोड़
भारतीय
नागरिकों
ने
इनकम
टैक्स
रिटर्न
दाखिल
किया
था.
यहां
यह
समझना
जरूरी
है
कि
इनमें
से
सभी
लोग
टैक्स
नहीं
चुकाते,
क्योंकि
कुछ
की
आय
टैक्सेबल
स्लैब
के
नीचे
होती
है.



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जब
मिडिल
क्लास
को
लुभाने
के
लिए
इनकम
टैक्स
पूरी
तरह
खत्म
करना
चाहती
थी
BJP?


इनकम
टैक्स
से
कमाई
करके
क्या
करती
है
सरकार?

इनकम
टैक्स
सरकार
के
लिए
आय
का
एक
प्रमुख
स्रोत
है,
जिसका
उपयोग
देश
के
विकास
और
प्रशासन
को
सुचारू
रूप
से
चलाने
के
लिए
किया
जाता
है.
इनकम
टैक्स
से
हुई
कमाई
का
उपयोग
सरकार
विभिन्न
योजनाओं,
इंफ्रास्ट्रक्चर
विकास,
रक्षा,
शिक्षा,
स्वास्थ्य
सेवाओं,
और
अन्य
सामाजिक
कल्याण
योजनाओं
के
लिए
करती
है.


  • पब्लिक
    सर्विसेज
    का
    डेवपलमेंट:

    सरकार
    टैक्स
    से
    मिली
    धनराशि
    का
    उपयोग
    सड़कों,
    पुलों,
    अस्पतालों,
    और
    स्कूलों
    जैसी
    बुनियादी
    सुविधाओं
    के
    निर्माण
    और
    रखरखाव
    के
    लिए
    करती
    है.

  • सामाजिक
    सुरक्षा:

    गरीबों
    और
    वंचित
    वर्गों
    के
    लिए
    कल्याण
    योजनाएं
    चलाई
    जाती
    हैं,
    जैसे
    कि
    प्रधानमंत्री
    आवास
    योजना,
    प्रधानमंत्री
    उज्ज्वला
    योजना,
    आदि.

  • रक्षा
    और
    सुरक्षा:

    देश
    की
    सीमाओं
    की
    सुरक्षा,
    पुलिस
    बल
    और
    आंतरिक
    सुरक्षा
    पर
    खर्च
    किया
    जाता
    है.

  • आर्थिक
    स्थिरता:

    सरकारी
    योजनाओं
    और
    सब्सिडी
    के
    माध्यम
    से
    आर्थिक
    स्थिरता
    को
    बनाए
    रखना
    भी
    सरकार
    की
    जिम्मेदारी
    है.


इसके
बदले
में
टैक्स
देने
वालों
को
क्या
मिलता
है?

  • बुनियादी
    ढांचा:
    बेहतर
    सड़कें,
    पुल,
    सार्वजनिक
    परिवहन
    और
    अन्य
    इंफ्रास्ट्रक्चर.
  • शिक्षा
    और
    स्वास्थ्य:
    सरकारी
    स्कूल
    और
    अस्पतालों
    में
    मुफ्त
    या
    सब्सिडी
    वाली
    सेवाएं.
  • सुरक्षा:
    पुलिस
    और
    रक्षा
    बलों
    द्वारा
    प्रदान
    की
    गई
    सुरक्षा.
  • सरकारी
    योजनाएं:
    विभिन्न
    सरकारी
    योजनाओं
    का
    लाभ,
    जैसे
    कि
    सब्सिडी,
    पेंशन
    योजनाएं,
    आदि.
  • टैक्स
    क्रेडिट्स
    और
    रिफंड्स:
    आयकर
    में
    कटौती,
    विभिन्न
    निवेश
    योजनाओं
    पर
    टैक्स
    छूट,
    और
    अतिरिक्त
    भुगतान
    किए
    गए
    टैक्स
    का
    रिफंड.



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मिडिल
क्लास
को
लुभाने
के
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इनकम
टैक्स
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BJP?

बता
दें
कि
फिलहाल
सरकार
ने
दो
तरह
के
टैक्स
रिजीम
बनाए
हुए
हैं.
एक
पुरानी
टैक्स
व्यवस्था
है
तो
दूसरी
नई
प्रणाली
है.
नई
प्रणाली
में
7
लाख
रुपये
तक
की
इनकम
पर
शून्य
टैक्स
देना
होता
है.
हालांकि
इसमें
अलग
से
कोई
टैक्स
छूट
दिए
जाने
का
प्रावधान
नहीं
है.
पुरानी
व्यवस्था
में
80सी
समेत
कई
धाराएं
हैं,
जिन
पर
टैक्स
छूट
मिलती
है.


पुरानी
टैक्स
व्यवस्था
(Old
Regime)
में
टैक्स
स्लैब

0

₹2.5
लाख:
कोई
टैक्स
नहीं
₹2.5
लाख

₹5
लाख:
5%
₹5
लाख

₹10
लाख:
20%
₹10
लाख
से
ऊपर:
30%


नई
आयकर
व्यवस्था
(New
Regime)

0

₹2.5
लाख:
कोई
टैक्स
नहीं
₹2.5
लाख

₹5
लाख:
5%
₹5
लाख

₹7.5
लाख:
10%
₹7.5
लाख

₹10
लाख:
15%
₹10
लाख

₹12.5
लाख:
20%
₹12.5
लाख

₹15
लाख:
25%
₹15
लाख
से
ऊपर:
30%

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